न्यूजक्लिक को लेकर भाजपा ने लगाया बड़ा आरोप, कहा – मौहब्बत की दुकान में चीनी सामान बेच रहे हैं राहुल गांधी, आखिर कौन है इसे धन देने वाले नेविल रॉय सिंघम

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HIGHLIGHTS

  • संसद में आज चीनी फंडिंग का मामला गूंजा।
  • भाजपा सांसद ने कांग्रेस पर साधा निशाना।
  • चीनी प्रोपेगंडा फैलाने में नेविल रॉय सिंघम का भी आया नाम।

Newsclick China Funding भाजपा ने आज संसद में कांग्रेस पर देशविरोधी अभियान चलाने का आरोप लगाया। सांसद निशिकांत दुबे ने कांग्रेस पर निशाना साधते हुए कहा कि चीनी फंडिंग के जरिए पीएम मोदी और देश के खिलाफ माहौल बनाने की कोशिश की गई।

भाजपा ने कहा कि न्यूज पोर्टल न्यूजक्लिक के साथ मिलकर कांग्रेस ने चीन का साथ देने का काम किया। केंद्रीय मंत्री अनुराग ठाकुर ने अमेरिकी अखबार न्यूयॉर्क टाइम्स की रिपोर्ट का हवाला देते हुए कहा कि इस न्यूज पोर्टल में चीन का पैसा लगा है।

मोहब्बत की दुकान में चीनी सामान बेच रहे राहुल
अनुराग ठाकुर ने राहुल गांधी पर निशाना साधते हुए कहा कि उनकी मोहब्बत की दुकान में चीनी सामान बेचा जा रहा है। उन्होंने कहा कि जब सरकार ने न्यूजक्लिक पर कार्रवाई की थी, तो कांग्रेस ने उसका साथ दिया था। मंत्री ने कहा कि दोनों के बीच सांठगांठ है।

इस बीच चीनी फंडिंग और प्रोपेगंडा फैलाने में नेविल रॉय सिंघम का भी नाम खूब चर्चा में रहा। आखिर ये सिंघम कौन हैं और इसका चीनी फंडिंग से क्या कनेक्शन है, आइए जानते हैं…

नेविल सिंघम कौन है?
नेविल रॉय सिंघम (Who is Neville Roy Singham) एक अमेरिकी व्यवसायी और सामाजिक कार्यकर्ता हैं। वह थॉटवर्क्स के संस्थापक और पूर्व अध्यक्ष हैं, जो एक IT कंपनी है। ये कंपनी कस्टम सॉफ्टवेयर, सॉफ्टवेयर टूल और परामर्श सेवाएं प्रदान करती है। सिंघम पर विभिन्न समूहों को वित्त पोषित करने का आरोप है, जो चीन के विचारों को बढ़ावा देते हैं, उइगर नरसंहार को झूठ बताते हैं।

अमेरिका में जन्मे है सिंघम
सिंघम का जन्म वर्ष 1954 में अमेरिका में हुआ था। उसने हार्वर्ड यूनिवर्सिटी से अर्थशास्त्र की पढ़ाई की और फिर 1993 में थॉटवर्क्स कंपनी की स्थापना से पहले कई वर्षों तक एक सॉफ्टवेयर इंजीनियर के रूप में काम किया। थॉटवर्क्स कुछ ही सालों में दुनिया की बड़ी आईटी कंपनियों में शुमार हो चुकी है।

चीन को फंडिंग करने का आरोप
सिंघम के चीन को फंडिंग करने की बात इसलिए कही जा रही है, क्योंकि वो चीनी कम्युनिस्ट पार्टी का मुखर समर्थक रहा है और उसने चीनी राज्य मीडिया के प्रचार वाले समूहों को लाखों डॉलर का दान दिया है।

न्यूजक्लिक को दिए 38 करोड़
न्यूयॉर्क टाइम्स की रिपोर्ट के अनुसार, सिंघम के नेटवर्क ने दिल्ली स्थित समाचार वेबसाइट न्यूजक्लिक को वित्तपोषित किया है। रिपोर्ट में कहा गया कि न्यूजक्लिक को 38 करोड़ रुपये की फंडिंग की गई। दावा किया गया है कि सिंघम चीनी कम्युनिस्ट पार्टी के लिए काम करते हैं।

हालांकि, सिंघम ने अपने काम का बचाव करते हुए कहा है कि वह केवल चीन और पश्चिम के बीच शांति और समझ को बढ़ावा देने की कोशिश कर रहे हैं।

न्यूजक्लिक पर ईडी की जांच में सामने आई थी ये बात
भाजपा सांसद ने कहा कि रिपोर्ट में कहा गया है कि 2021 में ईडी द्वारा न्यूजक्लिक पर रेड में चीनी फंडिंग की बात सामने आई थी और उस दौरान कांग्रेस ने कंपनी का समर्थन किया था।

Agencies

 

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