मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने शनिवार को राजभवन में राज्यपाल आनंदीबेन पटेल से मुलाकात की। इस अवसर पर मुख्यमंत्री ने विक्रम सम्पत द्वारा लिखित पुस्तक ‘शौर्यगाथाएं’ राज्यपाल को भेंट की। राजभवन और मुख्यमंत्री कार्यालय की ओर से मुख्यमंत्री की राज्यपाल से मुलाकात को शिष्टाचार भेंट बताया गया, लेकिन इंटरनेट मीडिया पर इस मुलाकात को लेकर मंत्रिमंडल विस्तार की चर्चा ने जोर पकड़ लिया है।
दारा सिंह चौहान और ओपी राजभर शामिल हो सकते हैं मंत्रीमंडल में
चर्चा है कि जल्द ही दारा सिंह चौहान और सुभासपा के मुखिया ओमप्रकाश राजभर सहित कुछ और विधायकों को मंत्रिमंडल में शामिल किया जा सकता है। सपा से भाजपा में वापसी करने वाले दारा सिंह चौहान घोसी सीट से उपचुनाव तो हार चुके हैं, लेकिन उन्हें मंत्री बनाने के लिए अब विधान परिषद सदस्य बनाए जाने की चर्चा है।
गौरतलब है कि राज्यसभा सदस्य बनाए जाने के बाद डा.दिनेश शर्मा के इस्तीफे से विधान परिषद सदस्य (एमएलसी) का एक पद रिक्त चल रहा है। उल्लेखनीय है कि लोकसभा चुनाव के मद्देनजर पूर्वांचल में जातीय समीकरण साध अपनी स्थिति को और मजबूत करने के लिए ही भाजपा ने जहां राजभर को एनडीए में शामिल किया है, वहीं दारा सिंह चौहान की सपा से वापसी कराई है।
वैसे तो दोनों को पहले ही मंत्रिमंडल में शामिल करने की चर्चा थी, लेकिन घोसी उपचुनाव में पार्टी प्रत्याशी दारा सिंह की हार के बाद दोनों को मंत्री बनाए जाने को लेकर सवाल खड़े होने लगे। पिछले दिनों दिल्ली में भाजपा के वरिष्ठ नेताओं से दारा सिंह की मुलाकात और ओमप्रकाश राजभर के दावे के बाद दोनों के मंत्री बनने की नए सिरे से शुरू हुई चर्चा ने शनिवार को राज्यपाल और मुख्यमंत्री की भेंट से जोर पकड़ ली।
सूत्रों का कहना है कि दोनों के साथ ही भाजपा के कुछ वरिष्ठ विधायकों को भी अगले वर्ष होने वाले लोकसभा चुनाव को देखते हुए क्षेत्रीय व जातीय संतुलन साधने के लिए मंत्रिमंडल में जगह मिल सकती है।